बच्चे में चाहते हैं लीडरशिप क्वालिटी, तो उसे बचपन में ही सिखाएं ये 5 जरूरी बातें

बच्चों में लीडरशिप क्वालिटी बचपन से ही विकसित की जा सकती है। इसके लिए, उन्हें एक्स्ट्रा कलीकुलर एक्टिविटी में हिस्सा लेने को कहें।

सभी पेरेंट्स चाहते हैं कि वे अपने बच्चे को अच्छी चीजें सिखाएं, उनकी पर्सनालिटी को अच्छी तरह डेवेलप करें ताकि वे बड़े होकर सफलता के सभी मुकाम हासिल कर सकें।

सफलता के शिखर पर पहुंचने के लिए बहुत जरूरी है कि पेरेंट्स अपने बच्चों में लीडरशिप क्वालिटी भी डेवेलप करें। इसके लिए, कुछ चीजें बहुत जरूरी होती हैं, जैसे बच्चे में आत्मविश्वास हो, वह जानकारियों और सूचनाओं से भरपूर हो, उसे दूसरों से बातची करना अच्छा लगता है।

लेकिन, ऐसे स्किल्स हैं, जिन पर पेरेंट्स को बचपन से ही काम करना चाहिए। हालांकि, सवाल उठता है कि बच्चों की पर्सनालिटी में इन चीजों का कैसे शामिल किया जा सकता है, ताकि उनमें लीडरशिप क्वालिटी आ सके? इसके लिए, यहां दिए गए कुछ टिप्स को आप फॉलो कर सकते हैं।

बच्चे में कैसे डालें लीडरशिप के गुण

बातचीत में माहिर बनाएं- Learn Communication Skills

यह एक ऐसा स्किल है, जो हर पेरेंट्स को अपने बच्चों को सिखाना चाहिए। बातचीत यानी कम्युनिकेशन स्किल हर व्यक्ति को जीवन में आगे बढ़ने में मदद कर सकता है।

वहीं, अगर बड़े होकर मीडिया, राजनीति, मार्केटिंग जैसे क्षेत्रों में अपना करियर बनाना चाहता है, तो कम्युनिकेशन स्किन उसके बहुत काम आएगी।

कम्युनिकेशन स्किल को बेहतर करने के लिए इन दिनों वैसे तो कई सारे कोर्सेस किए जाते हैं। लेकिन, पेरेंट्स को चाहिए कि वे छुटपने से ही बच्चे को बाचीत करने के लिए मोटिवेट करे।

हार से ना डराएं

बच्चा कभी स्टेज पर कुछ परफॉर्म करने जा रहा है या किसी प्रतियोगिता में भाग ले रहा है तो उसे हार का डर ना दिखाएं।

उसे यह ना कहें कि वह अच्छा प्रदर्शन नहीं करेगा तो उसकी बेइज्जती होगी या फिर उसे कोई उलाहना दी जाएगी। बच्चे को इतना समझाएं कि उसे अपना बेस्ट देने की कोशिश करनी है और कुछ नहीं सोचना है।

सोशल इवेंट में हिस्सा लेने को कहें- Volunteer For Social Event

बच्चों में लीडरशिप क्वालिटी तभी आ सकती है, जब बच्चे खुद से बढ़-चढ़कर कामकाज में हिस्सा लेंगे। इस तरह की क्वालिटी डेवेलप करवाने के लिए पेरेंट्स को चाहिए कि वे अपने बच्चे को सोशल इवेंट में उन्हें हिस्सा लेने के लिए मोटिवेट करें।

इस दौरान, वे जरूरतमंदों को देखेंगे, उन्हें समझेंगे और उनकी हेल्प कर रहे लोगों से जानेंगे कि खुद से बढ़चढ़कर कैसे लिया जा सकता है। इस तरह की सिचुएशन में बच्चे फैसले लेना भी सीखते हैं।

खेलकूद का हिस्सा बनाना

जो बच्चे किसी स्पॉर्ट को सीखते हैं या स्पॉर्ट्स (Sports) का हिस्सा बनते हैं उनमें लीडरशिप क्वालिटी आने लगती है। ये बच्चे नेतृत्व के साथ-साथ टीमवर्क भी सीखते हैं।

स्पोर्ट्स न सिर्फ फिजिकल एक्टिविटी के लिए बहुत अच्छा माना जाता है, बल्कि स्पोर्ट्स मेंट्ल हेल्थ को भी मोटिवेट करता है।

ऐसे में देखा जाए, तो जो बच्चे अक्सर गेम्स या स्पोर्ट्स में रहते हैं, उनकी लाइफ में स्टेबिलिटी रहती है और मुश्किल से मुश्किल घड़ी में वे परेशान नहीं होते हैं।

ऐसे बच्चे अक्सर समस्याओं के समाधान पर फोकस करते हैं। लीडर्स में सबसे अहम क्वालिटी में से एक यही माना जाता है कि वे परेशानियों से डरे नहीं, बल्कि उसका समाधान निकालें।

कॉन्फिडेंस बूस्ट करें- Boost Confidence

यह बहुत जरूरी है कि पेरेंट्स छुटपन से ही बच्चों का कॉन्फिडेंस बूस्ट करने पर काम करें। कॉन्फिडेंस बूस्ट करने के लिए जरूरी है कि बच्चा एक्सट्रा करीकुलर एक्टिविटी में हिस्सा ले, स्कूल के फंक्शन आदि में पार्टिसिपेट करे।

इस तरह की एक्टिविटी बच्चों के आत्मविश्वास को जगाती है। कॉन्फिडेंस से भरे बच्चे अक्सर नए-नए एक्सपेरिमेंट करने से भी नहीं हिचकते हैं। इसके अलावा, लीडरशिप के लिए यह बहुत जरूरी गुणों में से एक है।

बच्चों को करवाएं वॉलंटियर

ऐसे बहुत से काम हैं जिनमें बच्चे वॉलंटियर बन सकते हैं। वॉलंटियर बनकर बच्चों को छोटे-छोटे काम करने आएंगे, बच्चे प्रोब्लम सोल्व करना सीखेंगें, बच्चों में सौहार्द की भावना आएगी और बच्चे मदद करना भी सीखेंगे। ये कुछ ऐसे गुण हैं जो एक अच्छे लीडर (Leader) में होते हैं।

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